वैशाली
बिहार में पारा बढ़ने और पछुआ हवाओं के चलने के साथ-साथ अगलगी की घटनाएं भी सामने रही है। वैशाली के राघोपुर में शुक्रवार को एक चिंगीरी ने विकराल आग का रूप ले लिया। वीरपुर पंचायत में दोपहर में खाना बनाने के दौरान चूल्हे की चिंगारी से लगी आग को जब पछुआ हवा का साथ मिला तो आग भयंकर हो गई। जिसमें 96 झोपड़ीनुमा घर जलकर खाक हो गए।
चिंगारी बनी विकराल आग, सैकड़ों घर स्वाहा, 6 मवेशी मरे
अगलगी के साथ सिलेंडर ब्लास्ट से आग और विकराल हो गई। जिसमें 6 मवेशी जलकर मर गए। करीबी 800 गेहूं का बोझा भी जलकर राख हो गया। घर में रखी चौकी, खटिया, कुर्सी, अनाज, टीवी, साइकिल, नगद रुपया, आभूषण, अनाज, कपड़ा, आवश्यक कागजात आदि सामान जलकर राख हो गया। बताया जाता है कि इस अगलगी में 50 लाख रुपए से ऊपर की संपत्ति को नुकसान हुआ है। आग की तेज लपटों को देख एवं लोगों की चीख-पुकार सुनकर लोगों का कलेजा दहल जा रहा था। आग की विकराल लपटों के आगे सभी बेबस नजर आ रहे थे। चार घंटे की मशक्कत के बाद चार दमकल ने आग पर पाया काबू पाया। घटना के बाद जले हुए घरों को देखकर अग्नि पीड़ित परिवारों को रो-रोकर हाल बेहाल है।
चार भाईयों के घर हुए राख
वहीं दूसरी तरफ सहदेई बुजुर्ग प्रखंड क्षेत्र के पोहियार बुजुर्ग पंचायत के वार्ड संख्या 12 में आग लगने से चार भाईयों के घर जलकर राख हो गए। आग लगने से टिंकु सहनी, विनोद सहनी, रूदल सहनी और अजय सहनी का घर जल गया। अगलगी की घटना में दो बकरी, चारों भाई का नकद एक लाख रुपया नगद, समेत सामान जल गया। पछुआ हवाओं के चलने से चिंगारी भी भयानक आग में तब्दील हो जा रही है। हाल ही में पटना में एलएनजेपी अस्पताल के पास भी विकराल आग लगी थी। जिसमें 100 से ज्यादा झोपड़ियां राख हो गई थी।
प्रशासन की ग्रामीणों से अपील
अगलगी की घटनाओं को देखते हुए प्रशासन लोगों को जागरुक करने में जुट गया है। और लोगों से अपील भी की जा रही है। कि जिला में बढ़ रही अगलगी की घटना को देखते हुए इससे बचाव की जिलाधिकारी के द्वारा वैशाली जिलावासियों से अपील जारी की गई है।
अगलगी से बचने के लिए ये उपाय करें
जहां तक संभव हो खुले स्थान में पछुआ हवा चलने के पहले सुबह 9 बजे तक खाना बना लें
शाम में खाना 6 बजे के बाद ही खाना बनाना शुरू किया जाए, जब हवा नरम पड़ जाती है।
खाना पकाते समय पास के बर्तन में दो बाल्टी पानी जरूर रखें।
खाना पकाने के बाद आग को पानी डालकर पूरी तरह से बुझा दें।
अगर घर फूस का है तो उस पर मिट्टी का लेप चढ़ा दें तथा दो झोपड़ियों को सटा कर न बनाएं।
रसोई घर में मिट्टी का तेल एवं अन्य ज्वलनशील पदार्थ नहीं रखें।
जलती हुई तिल्ली, माचिस की काठी, बीड़ी, सिगरेट खेत खलिहान के पास नहीं फेंके।
अग्निशमन पदार्थ जैसे पानी, बालू, सूखी मिट्टी साथ रखा करें।
खेत खलिहान में पूजा के समय जलती हुई अगरबत्ती या धूप पर नजर रखें।
बिजली तार के जोड़ को ढीला या खुला न छोड़ें तथा इसे प्लास्टिक से न बांधें।
101 नंबर डायल करें ताकि दमकल की सेवा तुरंत मिले।